Edited by: Vandana Ravindra.
उत्तर प्रदेश सरकार के 8 साल पूरे हो चुके हैं। योगी सरकार के 8 साल पूरे होने पर यूपी बीजेपी ‘उत्सव’ मना रही है, जिसकी शुरुआत सोमवार से हो गई है। यह ‘उत्सव’ 14 अप्रैल तक मनाया जाएगा। इसके तहत पार्टी प्रदेश के जिलों में विभिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से सरकार की तमाम उपलब्धियों के साथ जनसंवाद करेगी।
प्रदेश सरकार की उपलब्धियों को दर्शाती पुस्तिका का विमोचन
योगी सरकार के 8 साल पूरे होने के अवसर पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस की। जहां सीएम योगी ने प्रदेश सरकार की उपलब्धियों को दर्शाते हुए एक पुस्तिका का विमोचन किया। इसके अलावा यूपी सीएम ने सरकार की ‘सेवा, सुरक्षा और सुशासन नीति’ पर आधारित एक डॉक्यूमेंट्री भी जारी की।
डबल इंजन की सरकार में युवाओं, महिलाओं के लिए काम हुआ
इसके बाद सीएम योगी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की। जहां अपनी सरकार की उपलब्धियां गिनाते सीएम योगी ने कहा कि, हमारी डबल इंजन की सरकार में युवाओं, महिलाओं के लिए काम हुआ है। जनता ने 8 सालों में भरपूर समर्थन दिया है। बेटियां, व्यापारी पहले सुरक्षित नहीं थे लेकिन अब सुरक्षा की गारंटी है।
8 साल पहले उत्तर प्रदेश बीमारू राज्य माना जाता था
सीएम ने आगे कहा कि, पूर्व की सरकारों में लोग दंगे और आतंक के साए में जी रहे थे। 8 साल पहले उत्तर प्रदेश बीमारू राज्य माना जाता था, लेकिन आज वही प्रदेश अर्थ शक्ति के रूप में उभरा है। पहले यूपी को विकास का ब्रेक माना जाता था, पर आज वही यूपी विकास का उदाहरण बनकर उभरा है। उन्होंने कहा कि, प्रदेश वही है, जनता वही है, सिस्टम वही है, सिर्फ सरकार बदलने मात्र से बड़ा बदलाव देखने को मिल रहा है।
प्रधानमंत्री मोदी के प्रेरणादायी मार्गदर्शन और उनके विजनरी नेतृत्व
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पीएम मोदी का जिक्र करते हुए कहा कि- “प्रधानमंत्री मोदी के प्रेरणादायी मार्गदर्शन और उनके विजनरी नेतृत्व में सेवा, सुरक्षा और सुशासन के उत्तर प्रदेश की डबल इंजन सरकार के 8 साल पूरे हुए हैं… मैं उत्तर प्रदेश की 25 करोड़ जनता को उनके समर्थन के लिए धन्यवाद देता हूं…
8 साल पहले यूपी के इंफ्रास्ट्रक्चर और अर्थव्यवस्था की हालत छिपी नहीं
“सीएम योगी ने आगे कहा, “हममें से ज्यादातर लोग जानते हैं कि 8 साल पहले यूपी की स्थिति और पहचान क्या थी. 8 साल पहले यूपी के इंफ्रास्ट्रक्चर और अर्थव्यवस्था की हालत छिपी नहीं थी। यूपी के सामने पहचान का संकट था, किसान आत्महत्या कर रहे थे, युवा संघर्ष कर रहे थे, बेटियां और व्यापारी असुरक्षित थे और दंगों और ध्वस्त कानून व्यवस्था की वजह से लोग खराब अर्थव्यवस्था को बर्दाश्त कर रहे थे। राज्य और मशीनरी आज भी वही हैं, लेकिन हम देख सकते हैं कि, कैसे सरकार बदलने से बड़े बदलाव हो सकते हैं।
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