प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी7 समिट में हिस्सा लेने के लिए कनाडा जाएंगे। खबर है कि, पीएम मोदी के इस दौरे से पहले मार्क कार्नी की सरकार खालिस्तानियों के खिलाफ अभियान चला रही है।

भारत विरोधी गतिविधियों में शामिल खालिस्तानियों को पकड़ने के लिए सरकार Project Pelican नाम से एक ऑपरेशन चलाया है। जिसमें बड़ी सफलता हाथ लगी है। इसी अभियान के तहत कनाडाई पुलिस ने एक बड़े ड्रग और आतंकवादी नेटवर्क का भंडाफोड़ किया है, जिसके खालिस्तान समर्थकों से संदिग्ध संबंध हैं। यह कार्रवाई ऐसे समय हुई जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस महीने के अंत में कनाडा के कनानास्किस में होने वाले जी7 शिखर सम्मेलन में भाग लेने वाले हैं। उनकी यात्रा कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी के निमंत्रण के बाद हो रही है।

सोशल मीडिया पर शेयर किए गए एक पोस्ट में पीएम मोदी ने कार्नी को उनकी हालिया चुनावी जीत पर बधाई दी और शिखर सम्मेलन के निमंत्रण के लिए उन्हें धन्यवाद दिया गया। उन्होंने कहा कि, भारत और कनाडा, मजबूत संबंधों वाले जीवंत लोकतंत्र के रूप में, नई ऊर्जा और साझा लक्ष्यों के साथ मिलकर काम करेंगे। पीएम मोदी ने कहा कि वह शिखर सम्मेलन में कार्नी से मिलने के लिए उत्सुक हैं। बता दें कि, जी7 समिट से इतर पीएम मोदी और कार्नी की बैठक भी होगी. दोनों की मुलाकात में खालिस्तान का मुद्दा उठा सकता है. भारत खालिस्तानियों के खिलाफ एक्शन तेज करने की मांग कर सकता है।

दरअसल, पुलिस ने कनाडा में अब तक की सबसे बड़ी ड्रग जब्त की है, जिसमें 47.9 मिलियन डॉलर कीमत की 479 किलोग्राम कोकीन मिली है। साथ ही कनाडा पुलिस ने कनाडा में रहने वाले सात भारतीय मूल के लोगों सहित नौ लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार किए गए लोगों में साजगिथ योगेन्द्रराजा (31), मनप्रीत सिंह (44), फिलिप टेप (39), अरविंदर पोवार (29), करमजीत सिंह (36), गुरतेज सिंह (36), सरताज सिंह (27), शिव ओंकार सिंह (31) और हाओ टॉमी हुइन्ह (27) शामिल हैं।

पुलिस ने जानकारी देते हुए बताया कि, ये समूह अमेरिका और कनाडा के बीच कर्मशियल ट्रकिंग रूट का इस्तेमाल करता था। इसके संबंध मैक्सिकन ड्रग कार्टेल और अमेरिकी डिस्ट्रिब्यूटर से थे। बताया गया कि, ड्रग व्यापार से प्राप्त धन का इस्तेमाल भारत विरोधी गतिविधियों जैसे विरोध प्रदर्शन, जनमत संग्रह और हथियारों की खरीद के लिए किया जा रहा है। दरअसल, खूफिया एजेंसियों को शक है कि, पाकिस्तान की आईएसआई इस नेटवर्क का समर्थन कर रही है, जो कनाडा में खालिस्तानी समूहों का इस्तेमाल मैक्सिकन कोकीन और अफगान हेरोइन की तस्करी के लिए कर रही है।

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