मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में आज हुई कैबिनेट बैठक हुई। लोकभवन के सभागार में आयोजित कैबिनेट बैठक में कुल 11 प्रस्ताव अनुमोदन के लिए रखे गए, जिसमें कैबिनेट ने 10 प्रस्तावों को स्वीकृति प्रदान की। जिसमें हल्दीराम उद्योग के लेटर ऑफ इंट्रेस्ट को मंजूरी मिली, 5 कंपनियों को वित्तीय प्रोत्साहन सुविधा की राशि मंजूर हुई, ACC सोनभद्र सहित कुल 06 कंपनियों का प्रस्ताव था वो पास हुआ। इसके अलावा उत्तर प्रदेश में “होम स्टे लॉज” बनाए जाने को मंजूरी दी गयी है जिसमें 01 कमरे से 06 कमरे तक के होंगे। इसकी अनुमति DM और SP/SSP दे सकेंगे। इसके अलावा पर्यटन विभाग उत्तर प्रदेश के प्रस्ताव को भी मंजूरी मिली है।

दरअसल, उत्तर प्रदेश बेड एंड ब्रेकफास्ट (बीएंडबी) एवं होमस्टे नीति-2025 को मंजूरी इसलिए दी गयी है जिससे राज्य के धार्मिक और पर्यटन स्थलों पर आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को ठहरने की बेहतर और सुलभ सुविधा मिल सके। पर्यटन विभाग के प्रस्ताव के अनुसार, अक्सर देखने में आता है कि प्रमुख धार्मिक या पर्यटन स्थलों पर होटल फुल हो जाते हैं, जिससे पर्यटकों को रुकने में परेशानी होती है। इसी समस्या के समाधान के लिए यह नीति तैयार की गई है।

बीएंडबी एवं होमस्टे नीति-2025 के अनुसार धार्मिक और पर्यटन स्थलों में कोई भी व्यक्ति अपने 1 से 6 कमरों तक की इकाई को होमस्टे के रूप में रजिस्टर करा सकता है। इसके तहत, अधिकतम 12 बेड की अनुमति होगी। कोई भी पर्यटक लगातार 7 दिन तक इस सुविधा का लाभ उठाते हुए यहां ठहर सकता है। इससे अधिक ठहरने की स्थिति में रिन्यूअल की भी व्यवस्था होगी। अनुमति की प्रक्रिया जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक की अगुवाई वाली कमेटी के माध्यम से पूरी की जाएगी।

बैठक के बाद वित्त एवं संसदीय कार्य मंत्री सुरेश खन्ना ने बताया कि, ग्रामीण क्षेत्रों में होमस्टे इकाइयों के लिए ₹500 से ₹750 तक का नाममात्र शुल्क लिया जाएगा। वहीं, शहरी या सिल्वर श्रेणी के होमस्टे के लिए ₹2000 का आवेदन शुल्क निर्धारित किया गया है। उत्तर प्रदेश की जीवंत सांस्कृतिक विरासत और ऐतिहासिक महत्व वाले स्थलों के कारण यह राज्य विदेशी और घरेलू पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है। राज्य में पहले ऐसी कोई नीति न होने के कारण होमस्टे संचालकों को केंद्र सरकार के निधि प्लस पोर्टल पर पंजीकरण कराना पड़ता था। अब राज्य सरकार की इस नई नीति के तहत वे स्थानीय निकायों की अनापत्ति लेकर सरल प्रक्रिया से पंजीकरण कर सकेंगे।

सुरेश खन्ना ने बताया कि इसके अतिरिक्त, इस नीति में वित्तीय प्रोत्साहन और अनुदान की भी व्यवस्था की गई है ताकि राज्य के निवासियों को प्रोत्साहित किया जा सके कि वे अपने घरों को पर्यटन हित में उपयोग करें। इस नीति के लागू होने से न केवल पर्यटकों को सस्ते और सुविधाजनक ठहरने का विकल्प मिलेगा, बल्कि स्थानीय लोगों के लिए रोजगार और आय के नए अवसर भी बनेंगे। सृजित होंगे। यह नीति प्रदेश की अर्थव्यवस्था और पर्यटन अवसंरचना को मजबूत करने में सहायक सिद्ध होगी।

बताते चलें कि यूपी कैबिनेट की बैठक में निवेश को बढ़ावा देने के लिए कुल 11 प्रस्तावों में से 10 को मंजूरी दी गई, जिसमें हल्दीराम उद्योग के लेटर ऑफ इंट्रेस्ट को भी स्वीकृति मिली है। नोएडा में हल्दीराम स्नैक्स की 662 करोड़ रुपये की निवेश परियोजना को हरी झंडी दी गई, जबकि पांच कंपनियों को वित्तीय प्रोत्साहन की सुविधा मंजूर हुई है। ACC सोनभद्र समेत कुल छह कंपनियों के प्रस्तावों पर भी सहमति बनी। उद्योग मंत्री नंदी ने कहा कि, विपक्ष के आरोपों का करारा जवाब मिला है और इन्वेस्ट यूपी के प्रस्ताव अब धरातल पर उतर रहे हैं।

इसके अलावा उत्तर प्रदेश सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए अग्निवीरों को पुलिस भर्ती में 20 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण देने का निर्णय लिया है, जो सभी वर्गों (SC, ST, OBC, सामान्य) में समान रूप से लागू होगा। इसके साथ ही अग्निवीरों को आयु सीमा में तीन वर्ष की छूट भी मिलेगी, जबकि अन्य राज्यों और केंद्रीय बलों (CISF, BSF) में अब तक अधिकतम 10 प्रतिशत आरक्षण ही दिया गया है।

साथ ही उत्तर प्रदेश में सार्वजनिक वितरण प्रणाली को सशक्त बनाने के लिए सरकार हजार अन्नपूर्णा भवन बनवा रही है। हर एक जिले में 75 अन्नपूर्णा भवन बनाए जाएंगे, जहां से लाभार्थियों को उचित दर पर सरकारी राशन मिलेगा। दो हजार अन्नपूर्णा भवन बनाना अभी बाकी है।
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